अभी हाल ही में पैराडाइज पेपर (Paradise Papers) का नाम समाचारों और अखवारों में सुनने में आया है पर क्या आप जानते हैं क्या है पैराडाइज पेपर अगर नहीं तो आइये जानते हैं इसके बारे में दरअसल पैराडाइज पेपर कुछ उसी तरह जैसा कि कुछ महीने पहले पनामा पेपर का नाम आया था|
पैराडाइज पेपर में एक करोड तैतीस लाख दस्तावेज शामिल हैंं इस पेपर में दुनियॉ के 180 देशों के नागरिकों के वित्तीय लेन देन की जानकारी है भारत के करीव 714 लोगों के नाम इन दस्तावेजों में हैं पैराडाइज पेपर उन फर्म और फर्जी कंपनियों के बारे में बताया गया है जो दुनिया भर में अमीरों और ताकवर लोगों के पैसा को दूसरे देशों में भेजने में उनकी मदद करते हैं|
पैराडाइज पेपर्स में उनके नामों का खुलासा है जो अमीर लोगों को टैक्स चोरी करने में मदद करती हैं| ये फर्म फर्जी कंपनी खुलकर अमीर लोगों के कालेधन को टैक्स हैवन देशों में भेजने का काम करती हैं|
इन पेपरों को एक जर्मन अखवार सुडॉयचे साइटुंग ने हासिल किया इन दस्तावेजों की जॉच पत्रकारों के अंतराष्ट्रीय संगठन इंटनेशनल कंसोटियम ऑफ इंवेस्टिगेटिव जर्नलिस्ट (ICIJ) की है इंटनेशनल कंसोटियम ऑफ इंवेस्टिगेटिव जर्नलिस्ट ने इन दस्तावेजों को पढने और इनके विश्लेषण के लिए दुनियॉभर के 96 समाचार संस्थानों के पत्रकारों की मदद ली है |
इस काम भारतीय अखबार इंडियन ऐक्सप्रेस भी शामिल है पैराडाइज पेपर्स का केंद्र Appleby नाम की एक लॉ फर्म है जो बरमूडा, ब्रिटेन के वर्जिन आईलैंड, केमैन आईलैंड, आइल ऑफ मैन और जर्सी से ऑपरेट करती है|
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